भ्रांति : ईसाई धर्म के लोग मानते हैं कि परमात्मा निराकार है।
👉🌏🌏
सच्चाई : जबकि संत रामपाल जी महाराज पवित्र बाइबिल के उत्पत्ति ग्रंथ 1:26, 27 से बताते हैं कि परमेश्वर ने मानव को अपने स्वरूप में उत्पन्न किया। जिससे स्पष्ट है कि परमात्मा साकार है।
510 years back from now God Kabir came in form of Banzara (trader) & had played a divine act in which he organised a community meal for 18lakhs people of Kashi & nearby places. Similarly, now @SaintRampalJiM is organizing दिव्य धर्म यज्ञ दिवस for 3 days
🌴For complete information, Must read the book "Gyan Ganga" written by #SantRampalJiMaharaj. To get this book for free, Whatsapp us (+91 7496801825) your name, full address, pincode and mobile number.
🌴Must Listen to the spiritual discourses of #SaintRampalJi :-
परमेश्वर अपरमपार अथाह यानी समन्दर की तरह अमित शक्ति संपन्न है। तत्वज्ञान के अभाव से प्रत्येक ऋषि-देव अपने उर (हृदय) में किरतम यानी कृत्रिम (मन कल्पित) ख्याल (विचार) से मौला (परमात्मा) अलख अल्लाह (निराकार-दिखाई न देने वाला) मानते हैं।
गीता अध्याय 11 श्लोक 23 में उस पूर्ण परमात्मा (सतपुरूष) की साधना का भी संकेत दिया है। कहा है कि उस पूर्ण परमात्मा की प्राप्ति का तो केवल ॐ - तत् - सत् इस तीन मंत्र के जाप का निर्देश है। यही साधना साधक जन सृष्टि के प्रारंभ में करते थे। तीन मंत्र के स्मरण की विधि तत्वदर्शी (पूर्ण) सन्त बताएगा।